प्रधानमंत्री अपने 2 मित्रों के लिए तारे तक तोड़ लाएंगे, मगर जनता को कौड़ी कौड़ी के लिए तरसाएंगे - राहुल गांधी

नई दिल्ली - बढ़ती महंगाई और बेरोजगारी के बीच केंद्र सरकार ने रोजमर्रा की चीजों पर जीएसटी(Goods And Services Tax) लगाने का फैसला किया है. जिससे आम आदमी की जेब और ढीली होगी. लगे हाथ केंद्र सरकार ने मॉनसून सत्र(Monsoon Session) में एक ऐसी घोषणा की है जिससे विपक्ष को हमला करने का मौका मिल गया है. केंद्र सरकार(Central Government) ने संसद(Parliament) में बहस के दौरान बताया कि सरकार ने भारतीय रेलवे(Indian Railway) में बुजुर्गों को मिलने वाली छूट को खत्म कर दिया है.
जिसको लेकर वीरवार को देश में मुख्य विपक्षी पार्टी कांग्रेस के बड़े नेता राहुल गांधी(Rahul Gandhi) ने सरकार पर हमला किया था. इसी हमले को बरकरार रखते हुए राहुल गांधी ने फिर से मोदी सरकार पर शुक्रवार फिर से सोशल मीडिया पर निशान साधा है. उन्होंने इस बार कथित पीएम मोदी के करीबी बिजनेसमैन मुकेश अंबानी(Mukesh Ambani) व गौतम अडानी(Gautam Adani) पर भी हमला बोला है. राहुल गांधी ने कहा कि विज्ञापनों और नए हवाई जहाज खरीदने और पूंजीपतियों को टैक्स में हर साल 1 लाख 45 हजार करोड़ रुपये छूट देने के लिए पीएम मोदी के पास बजट है. लेकिन बुजुर्ग नागरिकों को 1500 करोड़ रुपये छूट देने के लिए नहीं है. राहुल गांधी ने खास अंदाज में तंज कसते हुए कहा, "मित्रों के लिए तारे तक तोड़ कर लाएंगे, मगर जनता को कौड़ी-कौड़ी के लिए तरसाएंगे."
विज्ञापनों का ख़र्च: ₹911 Cr
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) July 22, 2022
नया हवाई जहाज़: ₹8,400 Cr
पूंजीपति मित्रों के टैक्स में छूट: ₹1,45,000 Cr/साल
लेकिन सरकार के पास बुज़ुर्गों को रेल टिकट में छूट देने के लिए ₹1500 करोड़ नहीं हैं।
मित्रों के लिए तारे तक तोड़ कर लाएंगे, मगर जनता को कौड़ी-कौड़ी के लिए तरसाएंगे।
इससे पहले वीरवार को भी उन्होंने सोशल मीडिया पर मोदी सरकार पर तंज कसा था. राहुल गांधी ने कहा, अबकी बार, बुजुर्गों पर वार. उन्होंने आगे कहा," अबकी बार, बुजुर्गों पर वार
भारतीय रेलवे हमारे देश की रीढ़ है. लाखों लोग रोज़ ट्रेन से सफ़र करते हैं. भाजपा ने पहले रेल के किराए में बढ़ोतरी करके ग़रीब और मध्यम वर्ग को चोट पहुंचाई, फ़िर कोरोना काल से बुर्जुर्गों को रेल के किराए में मिलने वाली 50% छूट पर रोक लगाई, और अब वरिष्ठ नागरिकों और खिलाड़ियों को रेल के किराए में छूट देने से साफ इनकार कर दिया है.
कोरोना काल में वरिष्ठ नागरिकों को मिलने वाली रियायत बंद करने से रेलवे ने साल 2020 में 1500 करोड़ रुपये कमाए थे. लेकिन अब भाजपा सरकार ने संसद में कहा है कि किराए में छूट देने से सरकार पर भारी बोझ पड़ रहा है. इसलिए अब ये रियायत नहीं देगी सरकार.
बच्चा, बूढ़ा, जवान, किसान, मजदूर, ग़रीब, महिला, इस सरकार ने किसी को भी प्रताड़ित करने में कोई कसर नहीं छोड़ी है. अपने जुमलों और झूठ के प्रचार के लिए और 'मित्रो' के कर्ज़ माफ़ करने के लिए, इस सरकार के पास ख़ूब पैसे हैं, लेकिन बुज़ुर्गों को सहारा देने के लिए इस सरकार के पास पैसे नहीं हैं.
क्या है रेलवे में बुजुर्गों को छूट न देने का मामला

बता दें कि भारतीय रेल से सफर करने वाले बुज़ुर्ग यात्रियों और खिलाड़ियों के लिए किराए में छूट देने से सरकार ने इनकार कर दिया है. रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव(Railway Minister Ashwini Vaishnav) ने बुधवार को लोकसभा(Loksabha) में यह बात कही. उन्होंने कहा कि अधिकतर श्रेणी में किराए पहले से ही काफी कम हैं. ऐसे में अभी भी किराये की लागत का 50% खर्च सरकार उठाती है. उन्होंने बताया कि बुजुर्गों को मिलने वाली छूट से रेलवे को वर्ष 2019-20 में अतिरिक्त 1667 करोड़ रुपये का खर्च उठाना पड़ा. इसी तरह 2018-19 में बुजुर्गों को मिलने वाली छूट से रेलवे को 1636 करोड़ रुपये का अतिरिक्त खर्च उठाना पड़ा था.