कौन हैं निर्मल चौधरी जिन्‍होंने छात्रसंघ चुनाव में NSUI, ABVP व मंत्री की बेटी सबको धूल चटा दी

जानें कौन हैं RU में जीत का परचम लहराने वाले निर्मल चौधरी, जिनके आगे दिग्गज धराशायी हो गए
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Nirmal chaudhary
निर्दलीय प्रत्याशी निर्मल के सामने एबीवीपी, एनएसयूआई के अलावा एक राज्य मंत्री की बेटी भी उम्मीदवार थे। नागौर के छोटे से गांव धामणिया के निर्मल चौधरी राजस्थान यूनिवर्सिटी के अध्यक्ष पद तक पहुंच गए हैं। निर्मल की रात-दिन की मेहनत और उसके जुझारूपन ने ही उसे आज इस मुकाम पर पहुंचा दिया।छात्रसंघ चुनाव में इस बार शुरू से जातिवाद हावी रहा है। एनएसयूआई से टिकट नहीं मिलने के बाद निर्मल ने निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में नामांकन भरा था। निर्मल ने सर्वसमाज को साथ लेकर चले। उनके सर्वसमाज अभियान और सोशल मीडिया पर पकड़ ने ही उन्हें अंत में विजय दिलाई।

जयपुर. राजस्थान विश्वविद्यालय को छात्र संघ का नया अध्यक्ष निर्मल चौधरी मिला है। छात्र संघ चुनाव 2022 में निर्दलीय उम्मीदवार निर्मल चौधरी ने न केवल NSUI, ABVP पार्टी के उम्मीदवार बल्कि राज्य मंत्री की बेटी को भी हराया।

शनिवार को हुए छात्र संघ चुनाव में निर्मल चौधरी को 4043 वोट, निर्दलीय निहारिका जोरवाल को 2578 वोट, एनएसयूआई उम्मीदवार रितु बराला को 2010 और एबीवीपी के नरेंद्र यादव को 988 वोट मिले थे. निर्मल चौधरी 1265 मतों से जीते।

कौन हैं छात्र संघ अध्यक्ष निर्मल चौधरी?

Nirmal chaudhary

बता दें कि राजस्थान विश्वविद्यालय के नए छात्र संघ अध्यक्ष निर्मल चौधरी मूल रूप से नागौर जिले के ग्राम धमानिया के रहने वाले हैं. निर्मल के पिता दयालराम चौधरी एक सरकारी स्कूल में शिक्षक हैं। मां रूपादेवी ग्रहणी हैं। निर्मल एक किसान परिवार से ताल्लुक रखते हैं। छात्र राजनीति में सक्रिय होने के साथ-साथ घर बैठे खेती में हाथ बंटाते हैं।

निर्मल चौधरी की जीत का कारण

निर्मल चौधरी के राजस्थान विश्वविद्यालय छात्र संघ के अध्यक्ष बनने में कई कारकों ने काम किया है। एक तो युवाओं पर निर्मल चौधरी की अच्छी पकड़ थी, जिसे नामांकन के दिन पुलिस लाठीचार्ज के बाद सहानुभूति की लहर से और बल मिला। इसके अलावा एनएसयूआई के बंटवारे ने भी निर्मल चौधरी की जीत में अहम भूमिका निभाई। निर्मल पूरे समुदाय को अपने साथ ले गया। उनके सर्व समाज अभियान और सोशल मीडिया पर पकड़ ने उन्हें अंत में जीत दिलाई।

निहारिका मीणा की हार का कारण

राजस्थान सरकार में मंत्री मुरारी लाल मीणा की बेटी निहारिका मीणा ने छात्र संघ चुनाव 2022 में निर्मल चौधरी को कड़ी टक्कर दी है. निहारिका मीणा की हार की एक वजह उनका एनएसयूआई से टिकट भी था. दूसरा कारण यह भी माना जा सकता है कि निर्मल चौधरी का निहारिका मीणा की तरह एनएसयूआई के खिलाफ बगावत। ऐसे में वोट बंट गए और निर्मल चौधरी को जातिगत वोटों का फायदा मिला.

निर्मल को राजनीति में लाए मुकेश भाखर

बता दें कि राजस्थान विश्वविद्यालय छात्र संघ चुनाव में अध्यक्ष पद पर जीत हासिल करने वाले निर्मल चौधरी को लाडनूं विधायक मुकेश भाखर ने छात्र राजनीति में उतारा था. कहा जाता है कि भाखर चौधरी के राजनीतिक गुरु हैं। राजस्थान यूनिवर्सिटी में भी भाखर का दबदबा है।

राजस्थान यूनिवर्सिटी : एबीवीपी के नरेंद्र यादव की जमानत जब्त

निर्मल चौधरी को मिले 4043 वोट,

निर्दलीय निहारिका जोरवाल को मिले 2578 वोट,

एनएसयूआई की रितु बराला को मिले 2010 वोट,

एबीवीपी के नरेंद्र यादव को मिले 988 वोट,

एबीवीपी के नरेंद्र यादव, निर्दलीय प्रताप भानु मीणा और हितेश्वर बेरवा की जमानत जब्त हो गई।

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